वेटरनरी विश्वविद्यालय आजीवन अधिगम एवं एकल स्वास्थ्य विषय पर सेमिनार का हुआ आयोजन

वेटरनरी विश्वविद्यालय
आजीवन अधिगम एवं एकल स्वास्थ्य विषय पर सेमिनार का हुआ आयोजन

बीकानेर, 20 मार्च। पशुचिकित्सा और पशु विज्ञान विश्वविद्यालय, बीकानेर एवं भारतीय प्रौढ़ शिक्षा संघ के संयुक्त तत्वावधान में गुरूवार को “आजीवन अधिगम एवं एकल स्वास्थ्य” विषय पर कुलपति आचार्य मनोज दीक्षित की अध्यक्षता में एक दिवसीय सेमिनार का आयोजन किया गया। उद्घाटन सत्र को सम्बोधत करते हुए कुलपति आचार्य मनोज दीक्षित ने कहा कि भारतीय संस्कृति पुराकाल से ही प्रकृति के समस्त तत्वों एवं जीवो के साथ संतुलित एवं समन्वय के नियम पर चल रही हैं आज पूरा विश्व एकल स्वास्थ्य की अवधारणा की जरूरत को मान रहा है और उस पर मंथन कर रहा है लेकिन भारत के ऋषि-मुनियों ने इस अवधारणा को वर्षों पहले से आचरण में लाने हेतु अमल किया। पशु, मनुष्य, वनस्पति एवं प्रकृति में से किसी एक के असंतुलन के साथ दूसरे के संतुलन की परिकल्पना नहीं कर सकते। आज प्रौढ़ शिक्षा के माध्यम से युवा वर्ग को भारतीय शिक्षा संस्कृति एवं ज्ञान की सिख लेनी चाहिए। भारतीय प्रौढ़ शिक्षा संघ के अध्यक्ष प्रो. एल. राजा ने सभी को सम्बोधित करते हुए कहा कि भारतीय संस्कृति वसुधैव कुटुम्बकम की प्रेरणा देती है। देश के सभी हिस्सो से शिक्षाविद् इस सेमिनार में प्रतिभागी है इस सेमिनार का उद्देश्य प्रौढ़ शिक्षा के महत्व को आम जन तक पहुचाना है। उद्घाटन सत्र में प्रति-कुलपति एवं अधिष्ठाता प्रो. हेमन्त दाधीच ने सभी का स्वागत किया एवं भारत के महाग्रन्थो और स्वास्थ्य एवं प्रकृति के सम्बंध में लिखित ज्ञान का वर्तमान परिपेक्ष्य में महत्व को बताया। सेमिनार में आई.ए.ई.ए. के महासचिव सुरेश खण्डेलवाल ने भी अपने विचार रखे। उद्घाटन सत्र के दौरान अतिथियों ने सेमिनार के ब्रोशर का विमोचन भी किया। कार्यक्रम के दौरान मंच संचालन सेमिनार समन्वयक राजेन्द्र जोशी ने किया। कार्यक्रम के दौरान वेटरनरी विश्वविद्यालय के डीन-डायरेक्टर, शिक्षक, जिला पी.आर.ओ. हरिशंकर आचार्य, डॉ.उमाकांत गुप्त एवं बीकानेर के जाने-माने शिक्षाविद उपस्थित रहे।